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Best wishes of Shri Geeta Jayanti to all

गीताशास्त्रमिदं पुण्यं यः पठेत्प्रयतः पुमान् ।
विष्णोः पदमवाप्नोति भयशोकादिवर्जितः ॥
भक्ति योग, ज्ञान योग, और कर्म योग के अद्वितीय संगम श्री गीता जयंती की हार्दिक शुभकामनाएं।
श्रीमद्भगवद्गीता के श्लोकों में मानवता और निःस्वार्थ भावना के साथ सन्मार्ग पर चलने की प्रेरणा का हर मर्म समाहित है। श्रीमद्भगवद्गीता वह अमूल्य धरोहर है, जिसने संसार को आत्मज्ञान, निष्काम कर्म और धर्म की सीख दी। कुरुक्षेत्र में अर्जुन को दिए गए भगवान श्री कृष्ण के उपदेश आज भी हमें अपने कर्तव्यों के निर्वहन तथा सत्य एवं मानवता के मार्ग पर चलने की प्रेरणा देते हैं।
गीता का ज्ञान मनुष्य जीवन के मंगल और कल्याण का आधार है। भगवान श्रीकृष्ण के उपदेशों का यह महान ग्रंथ अनंत काल तक मानवता का पथ प्रदर्शित करता रहेगा। वर्तमान समाज विशेषकर युवाओं के लिए गीता प्रेरणा का चिर स्रोत है। इसमें निहित ज्ञान हमें अपने जीवन के उद्देश्य को पहचानने और अपने भीतर की असीम शक्तियों को जागृत करने की प्रेरणा देता है। गीता हमें सिखाती है कि परिस्थिति कैसी भी हो, सत्य और कर्तव्य का मार्ग ही सर्वोत्तम है।
आइये, इस गीता जयंती पर हम सभी यह संकल्प लें कि गीता के उपदेशों को अपने जीवन में उतारेंगे। अपने कर्म से समाज, देश और विश्व के कल्याण में योगदान देंगे। Best wishes of Shri Geeta Jayanti to all

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